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बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ (BBBP) योजना की शुरुआत माननीय प्रधानमंत्री जी ने 22 जनवरी 2015 को हरियाणा के पानीपत समेत लगभग 100 जिलों में की थी। इस योजना का लक्ष्य बालिकाओं को शिक्षा में सक्षम बनाना है और लिंग अनुपात में हो रही कमी को रोकना है। मजबूत समाज में नारी का बहुत बड़ा योगदान होता है। पहले के समय में बल्कि अभी भी समाज के कुछ हिस्सों में, बेटियों के साथ भेदभाव और बेटो को प्राथमिकता देते हैं। कई जगहों पर बेटियों की गर्भ में ही हत्या कर दी जाती थी। इस वजह से भी लिंगानुपात में भारी कमी आई है। कई जगहों पर बेटियां शिक्षा जैसे प्राथमिक अधिकार से भी वंचित हो जाती हैं, वे विद्यालय नही जा पाती है, उच्च शिक्षा तो बहुत दूर, प्राथमिक शिक्षा भी ग्रहण नही कर पाती हैं। बल्कि माता पिता उनके व्यस्क होने का इंतजार करते हैं कि जल्दी से उनका विवाह कर दे, और अपने कर्तव्य पूरा कर सके।

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना का उद्देश्य (Objectives)

  • बच्चों के लिंग अनुपात में सुधार लाना
  • लैंगिक समानता और महिला सशक्तिकरण सुनिश्चित करना
  • बालिकाओं की उत्तरजीविता और सुरक्षा सुनिश्चित करना
  • लिंग-पक्षपाती यानी गर्भ में बेटा है या बेटी के आधार पर अपनी इच्छानुसार लिंग के चयन को रोकना
  • बालिकाओं की शिक्षा और भागीदारी को प्रोत्साहित करना

BBBP योजना के अंतर्गत प्रमुख लाभार्थी (Beneficiaries)

  • प्राथमिक खंड : युवा और नवविवाहित जोड़े; गर्भवती और स्तनपान कराने वाली माताएं; और माता-पिता
  • दूसरा खंड: युवा, किशोर (लड़कियां और लड़के), ससुराल वाले, मेडिकल डॉक्टर/चिकित्सक, निजी अस्पताल, नर्सिंग होम और डायग्नोस्टिक सेंटर
  • तीसरा खंड : अधिकारी, पीआरआई, फ्रंटलाइन कार्यकर्ता, महिला एसएचजी/सामूहिक, धार्मिक नेता, स्वैच्छिक संगठन, मीडिया, चिकित्सा संघ, उद्योग संघ और बड़े पैमाने पर लोग

बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ योजना के अंतर्गत लाभ (Benefits)

इस योजना के तहत, लक्षित समूहों और अन्य हितधारकों के बीच जागरूकता पैदा करने के लिए जिलों द्वारा कई पहल की गई हैं:

  • Digital Guddi-Gudda Board: इस बोर्ड में गुड्डा बालक व गुड्डी बालिका के हर माह के जन्म से लेकर अन्य विवरण दर्ज किए जाएंगे। बोर्ड के रखरखाव की जिम्मेदारी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पर रहेगी। इस जागरूकता कार्यक्रम के जरिये गांव की महिलाओं व पुरुषों को जागरूक किया जाएगा ताकि बेटा और बेटी में भेदभाव दूर किया जा सके।
  • Udaan – Sapne Di Duniya De Rubaru: लड़कियों को उनकी पसंद के क्षेत्रों में पेशेवरों को शामिल करने का अवसर प्रदान करने वाली पहल
  • My Aim My Target Campaign: उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में लड़कियों द्वारा शीर्ष शैक्षणिक प्रदर्शन को सम्मानित करने के लिए मान्यता कार्यक्रम
  • Lakshya Se Rubaru: कॉलेजों में महिला छात्रों के लिए इंटर्नशिप कार्यक्रम – उन्हें अपने करियर के बारे में सूचित निर्णय लेने के लिए प्रोत्साहित करने के लिए
  • Noor Jeevan Ka Betiyan: पंचायतों, स्कूलों और कॉलेजों में लिंग सशक्तीकरण थीम-आधारित इंटरैक्टिव गतिविधियों का आयोजन करके एक सप्ताह तक चलने वाला अभियान मनाया गया
  • Bitiya and Birba: पर्यावरण संरक्षण के साथ BBBP पहल पर जागरूकता अभियान। इसके तहत प्रत्येक नवजात कन्या की मां को एक पौधा देकर सम्मानित किया जाता है
  • Aao School Chalein: स्कूलों में लड़कियों का 100% नामांकन सुनिश्चित करने के लिए नामांकन अभियान में घर-घर जाकर पंजीकरण करना शामिल है
  • Collector Ki Class: सार्वजनिक स्कूलों और कॉलेजों में वंचित लड़कियों के लिए मुफ्त कोचिंग कक्षाएं और कैरियर परामर्श प्रदान करने वाली पहल
  • Bal Cabinet: युवा नेतृत्व कार्यक्रम जहां छात्राएं मुद्दों पर चर्चा और समाधान करने के लिए सरकारी मंत्रिमंडलों और मंत्रिस्तरीय भूमिकाओं का अनुकरण करती हैं

योग्यता ( Eligibility )

  • परिवार में 10 वर्ष से कम की बालिका होनी चाहिए
  • कन्या के नाम पर किसी भी भारतीय बैंक में सुकन्या समृद्धि अकाउंट (SSA) होना चाहिए
  • कन्या भारतीय होनी चाहिए। NRI नागरिकों के पास BBBP योजना के लिए पात्रता नहीं है

आवेदन प्रक्रिया (How to Apply)?

Offline Method:

Step 1: जहां भी यह योजना उपलब्ध हो वहाँ के डाकघर या बैंक जायें।
Step 2: बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ या सुकन्या समृद्धि अकाउंट के लिए फॉर्म प्राप्त करें और भरें।
Step 3: फॉर्म को स्वयं भरना होगा और सभी आवश्यक डॉक्युमेंट्स के साथ अटैच करना होगा।
Step 4: सभी दस्तावेज उसी बैंक या डाकघर में जमा करें, खाता बालिका के नाम पर ही खुलना चाहिए।

आवश्यक दस्तावेज (Needed Documents)

  1. बेटी का जन्म प्रमाण पत्र (अस्पताल या मान्यता प्राप्त सरकारी ऑफिस द्वारा जारी)
  2. माता पिता का पहचान प्रमाण पत्र (आधार कार्ड, राशन कार्ड आदि)
  3. माता पिता के पते का प्रमाण (पासपोर्ट, ड्राइविंग लाइसेंस, पानी, बिजली का बिल आदि)
  4. पासपोर्ट के आकार की फोटो

निष्कर्ष (Conclusion):

आज की महिला हर क्षेत्र मे आगे है, बस उन्हे अपने जीवन मे सही शिक्षा और अवसर मिलने की देर है। चाहे घर परिवार संभालने की जिम्मेदारी हो, या फिर समाज और देश संभालने की, महिलाएं सभी जिम्मेदारियों को भलीभाती निभाती हैं।एक विकसित समाज और देश के लिए लिंगानुपात की कमी को दूर करने के लिए और बालिकाओं की शिक्षा के लिए आकर्षित करने के लिए इस योजना की शुरुआत की गई है। क्योंकि पहले बेटी को बचाएंगे, और तभी तो बेटियों को पढ़ाएंगे, और उन्हे अपने जीवन में आगे बढ़ने का मौका दे पाएंगे। 

इस योजना का मुख्य उद्देश्य भारत की बढ़ती जनसंख्या में लड़कियों के घटते अनुपात को रोकना है। लड़कियों की शिक्षा को बढ़ावा देना है क्योंकि शिक्षा के माध्यम से महिलाएं अपने जीवन में आगे बढ़ सकती हैं। अपने आपको सामाजिक और आर्थिक रूप से मजबूत बना सकती हैं। इस योजना के माध्यम से बालिकाओं को उनके साथ होने वाले  शोषण से बचाना और उन्हे सही गलत की जानकारी देना है।


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